भूपेश सरकार ने मानी जूनियर डॉक्टर्स की मांग, स्टाइपेंड में की बढ़ोतरी

Junior Doctors Stipend: छत्तीसगढ़ में हड़ताल कर रहे जूनियर डॉक्टर्स की मांग मान ली गई है। दरअसल, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने जूनियर डॉक्टर्स का स्टाइपेंड बढ़ाने का फैसला लिया है, जिसकी जानकारी उन्होंने अपने ट्वीट के माध्यम से दी है। मुख्यमंत्री बघेल ने कहा है कि यह साझा करते हुए संतोष हो रहा कि हमने जूनियर डॉक्टर्स की शिष्यवृत्ति में वृद्धि करने का निर्णय लिया है। छत्तीसगढ़ सरकार ने जूनियर डॉक्टर्स के स्टाइपेंड में जो बढ़ोतरी की है। उसके नवीन दर के अनुसार पीजी प्रथम वर्ष के लिए 53 हजार 550 रुपए से बढ़ाकर 67 हजार 500 रुपए प्रति माह करने का निर्णय लिया है।

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इसी तरह पीजी द्वितीय वर्ष के लिए 56 हजार 700 रुपए से बढ़ाकर 71 हजार 450 रुपए प्रति माह और पीजी तृतीय वर्ष के लिए 59 हजार 200 रुपए से बढ़ाकर 74 हजार 600 रुपए प्रति माह करने का निर्णय लिया है। MBBS के इंटर्नशिप के छात्रों के लिए 12 हजार 600 रुपए से बढ़ाकर 15 हजार 900 रुपए प्रति माह किया गया है। इस तरह से राज्य सरकार के इस निर्णय से अब जूनियर डॉक्टर्स के स्टाइपेंड में साढ़े 3 हजार रुपए से लेकर 15 हजार रुपए तक की बढ़ोतरी होगी। (Junior Doctors Stipend)

बता दें कि स्टाइपेंड की मांग को लेकर जूनियर डॉक्टर्स कई बार विरोध जता चुके थे, जिसके बाद यह फैसला लिया गया है। छत्तीसगढ़ में जूनियर डॉक्टर्स की संख्या 3 हजार से ज्यादा है। ये सभी प्रदेश अलग-अलग जिलों के मेडिकल कॉलेज में पढ़ते हैं। इसके साथ ये लोगों का इलाज भी करते हैं। 4 दिन पहले भी इन लोगों ने हड़ताल किया था। सुबह से ओपीडी में रहने वाले जूनियर डॉक्टर नहीं थे। उनकी जगह रेगुलर स्टाफ ही अपनी सेवाएं दे रहे थे। इमरजेंसी सेवाओं को हड़ताल से दूर रखा गया था। (Junior Doctors Stipend)

जूनियर डॉक्टर्स ने 6 महीने पहले भी की थी हड़ताल

वहीं जूडा एसोसिएशन के अध्यक्ष ने कहा था कि जल्द मांग नहीं मानी गई तो इमरजेंसी सेवाओं को भी बंद कर दिया जाएगा। पहले दिन अस्पताल आने वाले मरीजों का हड़ताली डॉक्टर्स ने पंडाल में ही चेकअप किया था। जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन के अध्यक्ष ने बताया था कि राज्य में जूनियर डॉक्टर्स को मिलने वाला स्टाइपेंड दूसरे राज्यों के मुकाबले बेहद कम है। उन्होंने बताया कि आस-पास के स्टेट एमपी, झारखंड से भी कम स्टाइपेंड प्रदेश के जूनियर डॉक्टर्स को मिलता है। दूसरे प्रदेशों में जहां 95 हजार रुपए तक दिया जाता है। वहीं छत्तीसगढ़ में 50-55 हजार रुपए ही मिलते हैं। किसी भी प्रदेश में 2 साल का बॉन्ड नहीं भरवाया जाता है। सिर्फ छत्तीसगढ़ में ही ऐसा हो रहा है। बीते 4 साल में मानदेय नहीं बढ़ाया गया है। 6 महीने पहले भी जूनियर डॉक्टर्स ने हड़ताल की थी। (Junior Doctors Stipend)

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