
Murshidabad Violence : केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) को पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद और अन्य जिलों में वक्फ (संशोधन) कानून 2025 के विरोध में हुई हिंसा की प्रारंभिक जांच में बांग्लादेशी उपद्रवियों की संलिप्तता की आशंका सामने आई है। जांच के अनुसार, बांग्लादेशी घुसपैठियों ने मुर्शिदाबाद, मालदा, दक्षिण 24 परगना और अन्य सीमावर्ती क्षेत्रों में हिंसा भड़काने में भूमिका निभाई। सूत्रों का दावा है कि बांग्लादेश स्थित आतंकी संगठन अंसार उल बांग्ला टीम (ABT) के स्लीपर सेल इस हिंसा के पीछे हो सकते हैं, जो भारत-बांग्लादेश सीमा पर सक्रिय हैं।
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भारतीय जांच एजेंसियों के सूत्रों की मानें तो इस हिंसा का प्लानिंग लंबे समय से की जा रही थी। दावा तो यहां तक किया जा रहा है कि इस हिंसा की प्लानिंग पिछले 3महीनों से की जा रही थी और इस साजिश को अंजाम देने के लिए विदेशी फंडिंग का इस्तेमाल भी किया गया।
हिंसा में तीन लोगों की मौत हुई, कई घायल हुए, और सरकारी संपत्तियों को नुकसान पहुंचा। मुर्शिदाबाद के सुती, धूलियान, और जंगीपुर में प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पथराव किया, वाहनों में आग लगाई, और रेल-रोड यातायात बाधित किया। केंद्रीय जांच एजेंसियों ने स्थानीय प्रशासन की लापरवाही को भी जिम्मेदार ठहराया, क्योंकि अवैध घुसपैठियों का सत्यापन नहीं हुआ।
केंद्र सरकार ने स्थिति पर नजर रखने और केंद्रीय बलों की तैनाती के साथ-साथ 17 अप्रैल तक विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा है कि वक्फ कानून राज्य में लागू नहीं होगा और हिंसा के लिए केंद्र को जिम्मेदार ठहराया।
उपद्रवियों ने की थी पूरी प्लानिंग
उपद्रवियों ने बकायादा इसके लिए पूरी प्लानिंग की थी। मसलन कैसे वक्फ कानून के विरोध के नाम पर ट्रैनों को रोका जाए, सरकारी संपत्तियों को नुकसान पहुंचाना और हिंदुओं के घरों को लूटना उनके टारगेट में शामिल था। उस पूरी घटना को अंजाम देने के लिए बकायदा विदेश से फंडिंग किए जाने की बात भी सामने आ रही है। जांच में यह भी सामने आया है कि मुर्शिदाबादा हिंसा को अंजाम देने के लिए तुर्की से फंडिंग की गई थी।
इसके लिए हमलावरों और पत्थरबाजों के बकायदा 500रुपये दिए गए थे। इसके लिए इन्हें प्रोपर ट्रेनिंग दिए जाने की बात भी सामने आ रही है। सूत्र को यहां तक दांवा कर रहे हैं कि पश्चिम बंगाल को बांग्लादेश बनाने की साजिश रची गई थी। जिस तरह से बांग्लादेश में हिंसा देखने को मिली थी ठीक उसी की तर्ज पर बंगाल में भारी हंगामा काटने की योजना बनाई गई थी।
धीरे-धीरे समान्य होती स्थिति
हिंसा के बाद स्थिति की जानकारी देते हुए बंगाल पुलिस ने बताया कि अब दुकानें खुल रही हैं और हिंसा की वजह से घर छोड़कर गए लोग वापस लौटने लगे हैं। बता दें कि बीते सप्ताह के शुक्रवार और शनिवार को नए वक्फ कानून के विरोध में शुरू हुए प्रदर्शन हिंसक हो गए थे, जिनमें कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई और कई लोग घायल हुए। (Murshidabad Violence)
टीएमसी सांसद ने लोगों से की अफवाहों से बचने की अपील
वहीं मामले में जंगीपुर के टीएमसी सांसद खलीलुर रहमान ने बताया कि हालात सुधर रहे हैं और सरकार पीड़ितों की हर संभव मदद कर रही है। उन्होंने लोगों से अफवाहों से बचने और शांति बनाए रखने की अपील की। जिला प्रशासन अब उन लोगों की सूची बना रहा है, जिन्हें हिंसा में हुई संपत्ति की क्षति के लिए मुआवजा दिया जाएगा। (Murshidabad Violence)