
CM Mamata on Mahakumbh: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ को लेकर विवादित बयान दिया है। उन्होंने कहा कि यह महाकुंभ ‘मृत्युकुंभ’ में बदल गया है। मैं महाकुंभ और पवित्र गंगा मां का सम्मान करती हूं। CM ममता ने कहा कि महाकुंभ के लिए कोई प्लानिंग नहीं की गई है। भगदड़ में कई लोग मारे गए, लेकिन उनके बारे में कुछ पता नहीं चल रहा है। कई लोग मिले ही नहीं। महाकुंभ में अमीरों और VIP लोगों के लिए 1 लाख रुपए तक के टेंट मौजूद है, लेकिन गरीबों के लिए कोई व्यवस्था नहीं है। मेले में भगदड़ की स्थिति आम है, लेकिन व्यवस्था करना जरूरी है। उन्होंने यूपी सरकार से सवाल पूछा कि इसके लिए क्या योजना बनाई है?
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मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने यह बयान विधानसभा के बजट सत्र के दौरान दिया है। उन्होंने कहा कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का मतलब सांप्रदायिकता के बारे में बोलना या किसी धर्म के खिलाफ भड़काना नहीं है। आप एक विशेष धर्म को बेच रहे हैं। राज्यपाल सीवी आनंद बोस के भाषण पर मुख्यमंत्री बनर्जी ने कहा कि भारत में कई राज्य हैं। वहां भी डबल इंजन वाली सरकार है, लेकिन पश्चिम बंगाल में हमने विपक्ष को बोलने के लिए 50% समय दिया है। उन्होंने सदन में कागज फेंके हैं। भाजपा, कांग्रेस और CPI(M) मेरे खिलाफ एकजुट हैं। उन्होंने मुझे अपना भाषण देने नहीं दिया। (CM Mamata on Mahakumbh)
लालू प्रसाद यादव ने महाकुंभ को कहा था फालतू
इससे पहले बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने महाकुंभ को फालतू कहा था। जबकि 27 जनवरी को मध्यप्रदेश के महू में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा था कि महाकुंभ में गंगा स्नान करने से गरीबी दूर नहीं होगी। वहीं सपा सांसद डिंपल यादव ने मुख्यमंत्री ममता के बयान पर कहा कि इस बार बहुत निंदनीय घटनाएं घटी हैं। शासन और प्रशासन ने इसे छिपाने की कोशिश की थी तो हम केवल यह चाहते हैं कि सरकार सही आंकड़े बताए। सरकार ने कहा था कि 100 करोड़ लोगों की व्यवस्था है, लेकिन वह नहीं थी। बता दें कि विपक्ष के नेता लगातार महाकुंभ में व्यवस्था को लेकर सवाल उठा रहे हैं। (CM Mamata on Mahakumbh)