देवभूमि में कुदरत का कहर जारी, लैंडस्लाइड से 5 लोगों की मौत

Uttarakhand Landslide News: देवों की भूमि उत्तराखंड में कुदरत का कहर जारी है। दरअसल, रुद्र प्रयाग में हुए लैंडस्लाइड  5 लोगों की मौत हो गई है। ये हादसा केदारनाथ यात्रा रूट पर हुआ। पहाड़ से बड़े-बड़े पत्थर गिरने से एक गाड़ी उसमें दब गई। 12 घंटे की मशक्कत के बाद मलबे को हटाया गया। शनिवार को गाड़ी में पांच शव मिले। ये सभी गुजरात से केदारनाथ यात्रा करने आए थे। इधर, चंडीगढ़-मनाली नेशनल हाईवे पर मंडी में कार पर पत्थर गिरने से पांच साल के मासूम की मौत हो गई। भारतीय मौसम विभाग ने उत्तर-पूर्वी राज्यों बिहार, UP, उत्तराखंड, हिमाचल, पंजाब सहित 13 राज्यों में अगले भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। उत्तराखंड में ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है।

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इधर, हिमाचल प्रदेश में बीती रात से कई जगहों पर भारी बारिश जारी है। इससे नदी-नाले फिर से उफान पर आ गए हैं। फोरलेन सहित दूसरे संपर्क मार्ग जगह-जगह लैंडस्लाइड से अवरुद्ध हो गए है। इस बीच मौसम विज्ञान केंद्र शिमला ने कांगड़ा, चंबा, हमीरपुर, बिलासपुर, मंडी, कुल्लू, सोलन और शिमला जिले में 13 अगस्त तक फ्लैश फ्लड की चेतावनी जारी की है। इसे देखते हुए पुलिस महानिदेशक यानी DGP संजय कुंडू ने टूरिस्ट और स्थानीय लोगों को एडवाइजरी जारी की है। (Uttarakhand Landslide News)

उन्होंने बहुत जरूरी होने पर ही घरों से बाहर निकलने, नदी-नालों और लैंडस्लाइड संभावित क्षेत्रों में नहीं जाने की सलाह दी है। प्रदेश में बीती रात से हो रही भारी बारिश से 450 से ज्यादा सड़कें फिर से बंद हो गई है। इससे लोगों की आवाजाही पर बुरा असर पड़ा है। बारिश से प्रदेश में अब तक 918 घर पूरी तरह जमींदोज हुए हैं। जबकि 7708 को आंशिक नुकसान पहुंचा है। इससे सैकड़ों लोगों से उनका आशियाना छिना है। जबकि हजारों लोग बेघर हुए है। कुछ लोग जान जोखिम में डालकर अपने क्षतिग्रस्त घरों में रहने को मजबूर हैं। (Uttarakhand Landslide News)

हिमाचल प्रदेश में 450 सड़कें यातायात के लिए बंद पड़ी है। इससे लोगों की आवाजाही पर बुरा असर पड़ा है। प्रदेश में अब तक 6807 करोड़ रुपए की सरकारी और निजी संपत्ति बरसात से तबाह हो चुकी है। 24 जून से अब तक 255 लोगों की विभिन्न कारणों से जान जा चुकी है। इनमें 65 की मौत लैंडस्लाइड, फ्लैश फ्लड और बादल फटने से हुई है। 32 लोग लंबे समय से लापता हैं। वहीं आपदा ने टूरिज्म इंडस्ट्री की कमर तोड़ दी है। इससे हजारों लोगों की रोजी-रोटी पर संकट आ गया है। 7 से 11 जुलाई के बीच की भारी बारिश से मची तबाही से लोग डर रहे हैं। प्रदेश के होटलों में इससे ऑक्युपेंसी दो से तीन फीसदी रह गई है। 50 प्रतिशत तक डिस्काउंट देने के बाद भी सैलानी पहाड़ों पर आने से कतरा रहे हैं। (Uttarakhand Landslide News)

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