सब्जी के अलावा स्वीटकार्न की खेती से किसानों को हो रही अतिरिक्त आमदनी

Sweetcorn Cultivation: बीजापुर जिले के किसान अब धान पर ही निर्भर न होकर उन्नत कृषि और फसल परिवर्तन को अपनाकर अपनी आजिविका में वृद्धि कर रहे हैं। किसानों को प्रेरित करने कृषि विभाग जमीनी स्तर पर प्रयास कर नए-नए तकनीक और शासन की विभिन्न योजनाओं से किसानों को लाभान्वित कर रहे हैं, जिससे किसान खेती-किसानी में उत्तरोत्तर वृद्धि कर अपनी आजिविका और आमदनी को बढ़ा रहे है। छत्तीसगढ़ सरकार की विभिन्न योजनाएं किसानों के आर्थिक विकास में सहायक बन रही।

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राज्य के किसानों की भाति बीजापुर जिले के किसान की योजनाओं से लाभान्वित होकर कृषि कार्य में रुचि लेकर आत्मनिर्भरता की ओर अग्रसर हो रहे हैं। ऐसे ही एक किसान ग्राम बैदरगुड़ा निवासी जगमोहन भगत जो शासन की विभिन्न योजनाओं से लाभान्वित होकर अपने परिवार का जीवकोपार्जन बड़ी आसानी से और पहले से बेहतर कर पा रहा है। किसान जगमोहन भगत के 30 साल के बेटे राजनाथ भगत ने बताया कि हमारे पास 5 एकड़ जोत भूमि है, जिसमें खरीफ में धान बोए थे जिसमें 80 क्विंटल धान का उत्पादन हुआ। सिंचाई का पर्याप्त स्त्रोत है धान को सोसायटी में बेचे हैं और राजीव गांधी किसान-न्याय योजना से खेती किसानी में बड़ी सहूलियत हो रही है। (Sweetcorn Cultivation)

स्वीटकार्न की खेती से भी मिला अतिरिक्त आमदनी

वहीं कृषि विभाग की ओर से नई तकनीक और संसाधनों की प्राप्ति से साग-सब्जी में सालाना एक  लाख रुपए से अधिक की अतिरिक्त आमदनी हो जाती है, विभाग द्वारा तार फेसिंग  स्प्रींकलर डीप, उन्नत बीज के अलावा तकनीकी मार्गदर्शन समय-समय पर दी जाती है। राजनाथ भगत ने बताया कृषि विभाग के मार्गदर्शन में कुछ हिस्सों में स्वीटकार्न लगाया था, जिसका फसल काफी अच्छा हुआ। बहुत ही थोड़े जगह में लगाने के बावजूद आठ हजार रुपए का स्वीटकार्न बेचा हूं। आगामी साल में वृहदस्तर पर स्वीटकार्न की खेती करुंगा। (Sweetcorn Cultivation)

स्वीटकार्न मेरे लिए नया अनुभव था कुल 6 क्विंटल का उत्पादन हुआ। जिसे में स्थानीय बाजार में बेचा हूं। विभाग के सतत मार्गदर्शन से फसल परिवर्तन एवं नए-नए नगदी फसल से आमदनी में वृद्धि हो रही है। कृषि विभाग के सहयोग और मार्गदर्शन से धान के अलावा अन्य फसल से आमदनी में इजाफा हो रहा है और कृषि के प्रति अन्य किसानों का भी रुझान बढ़ रहा है। (Sweetcorn Cultivation)

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