पुल के पिलर के बीच फंसे 12 साल के बच्चे की मौत, 25 घंटे की मशक्कत के बाद निकाला गया था बाहर

Ranjan Death of Rohtas: बिहार में रोहतास जिले में सोन नदी पर बने पुल के 2 पिलर के बीच फंसे 12 साल के बच्चे की रेस्क्यू के बाद मौत हो गई है। 25 घंटे के ऑपरेशन के बाद उसे पुल के पिलर से बाहर निकाला गया था। बच्चे को गंभीर हालत में सासाराम सदर अस्पताल ले जाया गया था, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। इससे पहले NDRF-SDRF के 3 अफसर और 35 जवानों ने 25 घंटे तक रेस्क्यू चलाया। बच्चे का नाम रंजन कुमार था। उसे बुधवार सुबह 11 बजे पिलर के गैप में देखा गया था। शाम 4 बजे से उसका रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया गया था।
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वहीं गुरुवार सुबह उसे बांस की मदद से खाना दिया गया। पाइप से ऑक्सीजन दी गई। पहले पिलर में तीन फीट चौड़ा होल किया गया, लेकिन रेस्क्यू में फिर दिक्कत आ गई। फिर स्लैब को तोड़कर शाम करीब पांच बजे बच्चे को निकाला गया। राहत और बचाव कार्य में जुटे NDRF के अधिकारी जय प्रकाश ने बताया कि जिस कंडीशन में बच्चा फंसा था, वो बहुत ही क्रिटिकल सिचुएशन थी। रेस्क्यू में सबसे बड़ी दिक्कत ये आ रही थी कि स्पेशल इक्युपमेंट का इस्तेमाल करने लायक कोई प्लेटफॉर्म नहीं बन पा रहा था। SDM उपेंद्र पाल ने भी बता दिया था कि बच्चे की स्थिति सामान्य नहीं है। (Ranjan Death of Rohtas)
जानकारी के मुताबिक बुधवार सुबह 11 बजे दो पिलर के बीच बच्चे को फंसा देख लोग वहां इकट्ठा हो गए। बच्चे के परिजन ने उसे निकालने की बहुत कोशिश की, लेकिन नाकाम रहे। फिर स्थानीय प्रशासन को इसकी जानकारी दी गई। रंजन कुमार खिरिआव गांव का रहने वाला था। उसके पिता शत्रुघ्न प्रसाद ने बताया कि बेटा मानसिक रूप से कमजोर था। वह पिछले दो दिनों से लापता था। उसकी लगातार तलाश कर रहे थे। बताया जा रहा है कि वह कबूतर पकड़ने गया था। इसी दौरान फंस गया। बुधवार दोपहर एक महिला ने पुल में फंसे बच्चे को रोते हुए देखा। इसके बाद उसने परिजन को सूचना दी। (Ranjan Death of Rohtas)