नेशनल न्यूज : रायपुर शहर में कुछ शातिरों के गैंग ने 45 परिवारों को ठगा है। लोअर मिडिल क्लास के इन परिवारों ने कोविड की वजह से उपजी आर्थिक परेशानियों से राहत की चाहत में लोन के लिए आवेदन किया। मगर शातिरों के जाल में फंस गए।
बदमाशों ने लोगों के नाम पर लोन की रकम खुद रखी। किसी के नाम पर क्रेडिट कार्ड बनवाकर खुद मजे करते रहे और अब आम लोग किश्तों के बोझ और बैंक की तरफ से आ रहे धमकी भरे फोन कॉल से परेशान हैं।
तेलीबांधा इलाके में रहने वाले मोहन राव नाम के शख्स ने जब थाने जाकर शिकायत की तो पता चला कि उसकी तरह 45 लोग और हैं जिनके साथ इसी तरह करीब 3 करोड़ की धोखाधड़ी हुई है। मोहन राव ने ठगी करने वालों की जानकारी पुलिस को दी है। जांच टीम अब फरार ठगों की तलाश कर रही है।
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लोन की रकम का 25 प्रतिशत कमीशन
निखिल कोसले, शिव साहू और शैलेन्द्र मिश्रा ने मोहन राव के सामने शर्त रखी। कहा गया कि लोन की रकम का 25 प्रतिशत कमीशन और 25 हजार रुपए प्रोसेसिंग के देने होंगे। मोहन ने किश्तों के बारे में पूछा तो तीनों ने कहा कि जो लोन के रुपए मिलेंगे, उसमें से कुछ रुपए निखिल और उसके साथी किसी दूसरी कंपनी में इंवेस्ट करेंगे।
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कैसे हुआ मामले का खुलासा
कुछ दिनों बाद मोहन को पता चला कि उसके नाम पर क्रेडिट कार्ड जारी हुआ है, इसका बिल पे नहीं किया गया है। लोन की किश्तें भी जमा नहीं की गईं। वो फिर से निखिल और उसके साथियों के पास गया तो आरोपियों ने उसे टालकर भगा दिया। मोहन ने अपने मोहल्ले में लोगों से बात की तो पता चला कि इसी तरह से 45 से अधिक परिवारों से रकम का लेन देन कर आरोपियों ने 3 करोड़ से अधिक की ठगी की है। अब शातिर फरार हैं, इसलिए मोहन ने FIR दर्ज करवाकर पुलिस से इस मामले में मदद मांगी है।