
Sonia Gandhi on President: संसद में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कांग्रेस नेता सोनिया गांधी ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि वो Poor Lady हैं और अभिभाषण के बाद थक गई थीं। वे मुश्किल से बोल पा रही थीं। कांग्रेस महासचिव के.सी. वेणुगोपाल ने कहा कि राष्ट्रपति को राजनीतिक भाषण देने के लिए कहा गया था। हर बात केवल झूठ और जुमला थी। कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कहा कि मैं निराश और हताश हूं। वही पुरानी कहानी नए शब्दों में दोहराई गई है और भारतीय अर्थव्यवस्था की हालत को बचाने या उससे बाहर निकलने का कोई उपाय नहीं सुझाया गया है। राष्ट्रपति का अभिभाषण सरकार के लिए पूरे साल का मार्गदर्शक होता है, इसलिए अगर सरकार की यह हालत है तो मान लीजिए कि सरकार का पूरा साल गरीबों, पिछड़ों और दलितों को समर्पित नहीं है।
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कांग्रेस सांसद कुमारी शैलजा ने कहा कि हमेशा की तरह सरकार राष्ट्रपति से वही कहलवाती है जो वह चाहती है। हकीकत कुछ और होती है और कुछ और कहा जाता है। जब अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव होगा तब हम अपनी बात रखेंगे। चिंगारी के बारे में तो हमें नहीं पता, लेकिन देश भर में विदेशी ताकतें कैसे मजबूत हो रही हैं और भारत इस बारे में क्या कर रहा है? भारत सरकार को देखना पड़ेगा कि कैसे लोग हमारी जमीन में घुस जाते हैं और क्या कुछ होता है। कांग्रेस सांसद रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि राष्ट्रपति का अभिभाषण देश के लिए मौजूदा और भविष्य की चुनौतियों का हल निकालने वाला होना चाहिए, लेकिन यह केवल सरकारी प्रचार का निराशाजनक पुलिंदा बनकर रह गया है। भाषण में महाकुंभ का नाम जरूर लिया गया, लेकिन महाकुंभ में हुई त्रासदी की चर्चा नहीं हुई, जिस प्रकार महाकुंभ में त्रासदी हुई सबसे पहले उस त्रासदी पर खेद प्रकट कर दोनों सदनों में एक शोक प्रस्ताव लाना चाहिए था। (Sonia Gandhi on President)
RJD सांसद मनोज झा ने साधा निशाना
RJD सांसद मनोज झा ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के अभिभाषण पर कहा कि मेरे मन में ख्याल आता है कि राष्ट्रपति को यह आजादी होनी चाहिए कि परंपरा को त्यागते हुए वे कैबिनेट के नोट को न पढ़ें अपने मन की पीड़ा को भी व्यक्त करें। क्या राष्ट्रपति को नहीं लग रहा है कि इस देश में आय की असमानता, बेरोजगारी कितनी विकराल हो गई है। संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि मैं सोनिया गांधी और अन्य विपक्षी नेताओं द्वारा की गई टिप्पणियों की निंदा करता हूं। हमारी राष्ट्रपति, एक आदिवासी महिला हैं, वे कमजोर नहीं हैं। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने देश और समाज के लिए बड़े पैमाने पर काम किया है और वे उस तरह के काम की कल्पना भी नहीं कर सकते हैं। उन्हें उनसे माफी मांगनी चाहिए। (Sonia Gandhi on President)
राष्ट्रपति का ऐसा अपमान कभी नहीं हुआ: प्रधान
केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि राष्ट्रपति का ऐसा अपमान कभी नहीं हुआ था। कांग्रेस सांसद सोनिया गांधी और उनके बेटे और विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने राष्ट्रपति के खिलाफ जिस तरह के शब्दों का इस्तेमाल किया, मैं उसकी कल्पना भी नहीं कर सकता। उनसे और क्या उम्मीद की जा सकती है? केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि यह बहुत दुखद है कि राजनीति में एक राजनीतिक दल के नेता राष्ट्रपति के बारे में ऐसी बातें कह सकते हैं। वह पहली आदिवासी राष्ट्रपति हैं। उनके बेटे राहुल गांधी ने कहा कि भाषण उबाऊ था, क्या वह भाषण सुन भी रहे थे? उन्होंने (राष्ट्रपति) सरकार की तरफ से रिपोर्ट कार्ड दिया, अगर आपको इस पर आपत्ति है तो चर्चा होगी और फिर आप इसका प्रतिवाद कर सकते हैं। उनकी मां (सोनिया गांधी) कहती हैं थकी हुई, ये किस तरह के शब्द हैं। मुझे लगता है कि कांग्रेस पार्टी का वर्तमान नेतृत्व अहंकारी है।
संविधान के अनुसार राष्ट्रपति का पद सर्वोच्च: मेघवाल
केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि भारत के संविधान के अनुसार राष्ट्रपति का पद सर्वोच्च है, जो लोग संविधान के सम्मान की बात करते हैं और जो सर्वोच्च संवैधानिक पद पर बैठी हमारी आदिवासी राष्ट्रपति का अपमान करते हैं, वे संविधान का भी अपमान कर रहे हैं। यह सीधे तौर पर संविधान का अपमान है। आपको लोकसभा में बोलने का मौका मिलेगा, अगर आप सकारात्मक आलोचना करना चाहते हैं तो लोकसभा उसके लिए मंच है। राष्ट्रपति के अभिभाषण के तुरंत बाद उन्होंने जो निम्न स्तर की टिप्पणी की, मैं उसकी कड़ी निंदा करता हूं। केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि सोनिया गांधी को वही दिखेगा, जैसा सोचती है। (Sonia Gandhi on President)
भारत में विश्व का सर्वोच्च लोकतंत्र: पात्रा
भाजपा सांसद संबित पात्रा ने कहा कि पूरे देश ने राष्ट्रपति को सतर्कता के साथ सुना है। यह दुखद है कि कांग्रेस पार्टी की पूर्व अध्यक्षा सोनिया गांधी ने जिस प्रकार की टिप्पणी राष्ट्रपति पर की है वह बिलकुल उचित नहीं है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति अपने भाषण में थकी हुई थी। भारतवर्ष गणतंत्र है और विश्व का सर्वोच्च लोकतंत्र है। राष्ट्रपति सशक्त और सबल हैं। LJP (रामविलास) सांसद शांभवी चौधरी ने कहा कि यह राष्ट्रपति के अभिभाषण पर उनकी (सोनिया गांधी) नजरिये को दर्शाता है। उन्होंने बहुत अच्छा भाषण दिया। उन्होंने टीबी मुक्त भारत, AI, तकनीक के बारे में कितनी खूबसूरती से बात की। समावेशिता के बारे में बात की। अगर उन्हें यह उबाऊ लगता है तो यह उनका नजरिया है, देश को समझना चाहिए कि कैसे विपक्ष के लोग हैं। (Sonia Gandhi on President)
राज्यसभा सांसद रेखा शर्मा ने साधा निशाना
पूर्व महिला आयोग प्रमुख और राज्यसभा सांसद रेखा शर्मा ने कहा किमुझे लगता है कि जब कांग्रेस सत्ता से बाहर रहती है तो अपने होश गवा देती है। नेहरू-गांधी परिवार सत्ता के बिना नहीं रह सकता है। मैंने गौर किया कि जो ज़िंदगियां हमने महाकुंभ में खोई हैं उन पर राष्ट्रपति द्वारा जब शोक व्यक्त किया जा रहा था, उस समय सोनिया गांधी मुस्कुरा रही थी… मुझे इन लोगों के ऊपर दया आती है। भाजपा सांसद जगदंबिका पाल ने कहा कि यह देश को शर्मसार करने वाला बयान है। संवैधानिक प्रक्रिया होती है कि राष्ट्रपति दोनों सदनों को संयुक्त रूप से संबोधित करते हैं और उसमें सरकार की नीतियों की रूपरेखा होती है। जब इस पर चर्चा होगी, तब उन्हें आलोचना करने का अवसर मिलेगा। लेकिन आज के बयान के बाद ये दोनों लोग सांसद होने के लायक नहीं हैं। पहला बुनियादी नियम यह है कि राष्ट्रपति, न्यायाधीश पर टिप्पणी नहीं करते, लेकिन एक आदिवासी महिला राष्ट्रपति पर ऐसी टिप्पणी की गई। (Sonia Gandhi on President)