ब्रेन ट्यूमर और कैंसर से लड़ रहे 13 महीने के हर्ष को अब जिला प्रशासन से मिलेगी मदद, मुख्यमंत्री बघेल ने दिए निर्देश
CM Bhupesh baghel : ब्रेन ट्यूमर और कैंसर से लड़ रहे तेरह महीने के हर्ष और उसके परिवार को हर संभव सहायता मिलेगी ये निर्देश आज मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh baghel) ने दिया है। सीएम बघेल ने निर्देश दिया है कि ब्रेन ट्यूमर के ऑपरेशन के बाद कीमोथेरेपी के लिए हर्ष को जिला प्रशासन की तरफ से हर मदद की जाएगी।
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छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के बाहर हर्ष के माता-पिता चाय का ठेला लगाकर अपना गुजारा कर रहे हैं। मुख्यमंत्री बघेल ने कलेक्टर डॉ सर्वेश्वर भुरे को परिवार की हर सम्भव मदद करने के निर्देश दिए हैं। इसके बाद कलेक्टर ने सीएमएचओ डॉ मिथलेश चौधरी और नगर निगम आयुक्त मयंक चतुर्वेदी को वहां भेजा। दोनो अधिकारियों ने हर्ष के पिता बालकराम डेहरे से पूरे मामले की जानकारी ली और कलेक्टर डॉ भुरे को अवगत कराया। जानकारी मिलने पर कलेक्टर ने तत्काल हर्ष और उसके माता-पिता को हर संभव मदद देने के निर्देश अधिकारियों को दिए।
CM Bhupesh baghel : पिता ने बताया घर-जमीन बेचने पड़े
बालक दास ने बताया कि कवर्धा जिले के ठकुराइन टोला गांव में घर और खेत था। बच्चे के इलाज के लिए यह सब बेचना पड़ा कुछ पैसे थे तो किराए का मकान लेकर प्राइवेट अस्पतालों में बच्चे का इलाज कराया, जो अब खत्म हो चुके हैं। किसी ने रायपुर एम्स आकर बच्चे का इलाज कराने की सलाह दी। एम्स में बच्चे का इलाज तो मुफ्त हो रहा है, मगर उसकी दवाओं के लिए पैसे और रहने के लिए जगह नहीं है। बालक दास को सरकार और समाज के लोगों से मदद की आस है।
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मजदूरी दवा में खर्च हो जाती है, भूखे सोते हैं
बालक दास और उसकी पत्नी एम्स के गेट नंबर 1 के बाहर एक ठेला लगाकर 100-200 रोजी कमाते हैं। बच्चे की दवा में यह सारे पैसे खर्च हो जाते हैं। बालक दास ने बताया कि पास के गुरुद्वारे में वक्त पर पहुंचने पर लंगर का खाना रात में नसीब होता है। बच्चे की वजह से कई बार पहुंचने में देरी होती है तो भूखे पेट सोना पड़ता है। जैसे तैसे गुजर-बसर कर रहे हैं उन्हें समझ नहीं आ रहा कि उनका भविष्य क्या होगा। इलाज के खर्च की वजह से गांव के लोगों और रिश्तेदारों से कर्ज हो चुका है।