गोधन योजना के क्रियान्वयन में लापरवाही, हटाए गए दो अध्यक्ष

Koriya Collector Action: कोरिया कलेक्टर विनय कुमार लंगेह द्वारा लगातार जिले में संचालित एनजीजीबी यानी नरवा, गरुवा, घुरवा और बाड़ी योजना समेत गोधन न्याय योजना की प्रगति की समीक्षा की जा रही है। कलेक्टर के सख्त निर्देश हैं कि शासन की महत्वाकांक्षी योजनाओं के क्रियान्वयन में किसी तरह की लापरवाही या उदासीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इसके साथ ही जिला स्तरीय अधिकारियों को नोडल के रूप में प्रति शुक्रवार नियत गौठान के भ्रमण और मॉनिटरिंग के निर्देश भी कलेक्टर द्वारा जारी किए गए हैं। इसी कड़ी में कोरिया जिले के बैकुंठपुर विकासखंड अंतर्गत कलेक्टर के निर्देश अनुसार संतोषजनक परिणाम ना दिखने पर गौठान समिति में बदलाव किया गया है।

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वहीं दो अध्यक्ष भी बदले गए हैं। इसमें गौठान ग्राम पंचायत जूनापारा की गौठान समिति के सदस्यों में बदलाव किया गया है। साथ ही समिति अध्यक्ष को भी हटाकर नए अध्यक्ष का चयन किया गया है। इसी तरह गौठान ग्राम पंचायत केनापारा में भी नए समिति अध्यक्ष का चयन किया गया है। बता दें कि शासन द्वारा दिए गए निर्देशानुसार एनजीजीबी अंतर्गत गरुवा कार्यक्रम के सफल क्रियान्वयन के लिए जिले के ग्राम पंचायतों में निर्मित गौठानों के सतत निरीक्षण और मॉनिटरिंग के लिए ग्राम पंचायत स्तरीय ग्राम गौठान समिति का गठन किया गया है। (Koriya Collector Action)

कुछ गौठान समिति के अध्यक्ष और सदस्य द्वारा गौठान में संचालित गतिविधियों में रुचि नहीं रखने और राज्य शासन की मंशानुरूप योजना के क्रियान्वयन में उदासीनता बरतने और सक्रिय ना होने के कारण गौठान समिति में परिवर्तन किया जा रहा है। वहीं राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी ‘नरवा विकास योजना’ के सफल क्रियान्वयन से वनांचल की तस्वीर ही बदल गई है।

गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ में नरवा विकास कार्यक्रम के तहत कैम्पा मद अंतर्गत वनांचल स्थित नालों में काफी तादाद मेें भू-जल संरक्षण संबंधी कार्यो का तेजी से क्रियान्वयन जारी है। इससे वन क्षेत्रों के भू-जल स्तर में काफी सुधार दिखाई देने लगा है और वनवासियों सहित क्षेत्रवासियों को पेयजल, सिंचाई तथा निस्तारी आदि सुविधाओं का भरपूर लाभ मिलने लगा है। साथ ही साथ इससे वन संरक्षण तथा संवर्धन के कार्यों को भी बढ़ावा मिला है। राज्य में इसके उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग को ’स्कॉच अवार्ड’ के पर्यावरण श्रेणी के लिए स्वर्ण पुरस्कार भी मिल चुका है। (Koriya Collector Action)

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