सावधान रहें, देश में कोरोना के नए रूप ‘ओमिक्रॉन’ का संक्रमण तेजी से बढ़ रहा है। रविवार को दिल्ली में ओमिक्रॉन से संक्रमित पहला मरीज मिला तो वहीं, महाराष्ट्र में सात और राजस्थान में नौ लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई। इसके साथ ही अब तक 21 लोग इस ओमिक्रॉन वायरस की चपेट में आ चुके हैं। इससे पहले कर्नाटक में भी ओमिक्रॉन के मरीज मिले थे। कुल मिलाकर एक दिन में ही कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन के 17 मामले सामने आए, जिससे देश में डर का माहौल बन गया। हालांकि-राहत की बात है कि किसी की भी हालत गंभीर नहीं है।
दिल्ली : संक्रमित तंजानिया से आया था
दिल्ली में ओमिक्रॉन से संक्रमित 37 वर्षीय व्यक्ति कुछ दिन पहले ही तंजानिया से यात्रा करके आया था। जीनोम सिक्वेंसिंग की रिपोर्ट में ओमीक्रोन की पुष्टि होने के बाद अब उसका एलएनजेपी में बने विशेष वार्ड में उसका इलाज चल रहा है। स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने बताया कि विदेश से आने वाले सभी लोगों की आरटीपीसीआर जांच हो रही है।
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17 संक्रमित में 12 की जीनोम रिपोर्ट आई
अभी तक कुल 17 लोग पॉजिटिव मिले थे। इन्हें एलएनजेपी में भर्ती कराया गया है। सभी 17 की रिपोर्ट जीनोम सिक्वेंसिंग के लिए भेजी गई थी। इनमें से 12 की रिपोर्ट आई है जिसमें तंजानिया से आए व्यक्ति में ओमिक्रॉन की पुष्टि हुई है। हालांकि, उन्होंने कहा कि यह प्राथमिक रिपोर्ट है लैब से अंतिम रिपोर्ट सोमवार तक आएगी। वर्तमान में कुल 23 लोग एलएनजेपी अस्पताल में भर्ती है, जिसमें 17 कोविड पॉजिटिव व 6 लोग उनके सीधे संपर्क में आएं लोग है। जिस व्यक्ति में ओमीक्रोन की पुष्टि हुई है उनके संपर्क में 4 लोग भी एलएनजेपी अस्पताल में ही भर्ती है।
महाराष्ट्र : सात लोग ओमिक्रॉन से संक्रमित
महाराष्ट्र के पुणे जिले में सात लोगों के कोरोना के नए स्वरूप ओमिक्रॉन से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। संक्रमितों में नाइजीरिया से आई महिला और उसकी दो बेटियां शामिल हैं। वह नजदीकी पिंपरी-चिंचवड इलाके में अपने भाई से मिलने आई है। महिला का भाई और उसकी दो बेटियां भी ओमिक्रॉन से संक्रमित पाई गई हैं। वहीं पिछले महीने के आखिरी सप्ताह फिनलैंड से पुणे लौटे एक अन्य व्यक्ति के भी ओमिक्रॉन से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। महाराष्ट्र में अबतक आठ लोगों के ओमिक्रॉन से संक्रमित होने की पुष्टि हो चुकी है। इससे पहले ठाणे जिले में एक व्यक्ति ओमीक्रोन से संक्रमित पाया गया था।
राजस्थान : दक्षिण अफ्रीका से लौटे चार समेत नौ संक्रमित
राजस्थान की राजधानी जयपुर में नौ लोगों के ओमिक्रॉन वेरिएंट से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। इनमें चार लोग दक्षिण अफ्रीका से लौटे हैं और पांच उनके संपर्क में आए उनके रिश्तेदार हैं। दक्षिण अफ्रीका से लौटे परिवार के सभी चार सदस्यों को पहले ही आरयूएचएस अस्पताल में भर्ती करवा दिया था। उनके संपर्क में आए पांच अन्य लोग भी संक्रमित पाए गए हैं इन्हें भी आरयूएचएस में भर्ती किया जा रहा है। दक्षिण अफ्रीका से लौटे परिवार सहित उनके संपर्क में आए 34 लोगों के नमूने लिए गए थे, जिनमें से नौ लोगों के ओमीक्रोन से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। जबकि 25 लोगों की रिपोर्ट निगेटिव आयी है।
कर्नाटक में मिला देश का पहला केस
देश में कोरोना वायरस के खतरनाक वेरिएंट ओमिक्रॉन ने सबसे पहले कर्नाटक में दस्तक दी। दोनों ही संक्रमित मरीज दक्षिण अफ्रीका से आए थे। केंद्रीय संयुक्त स्वास्थ्य सचिव लव अग्रवाल ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा था कि संक्रमित पाए गए मरीजों में से एक की उम्र 64 साल है, जबकि एक शख्स की उम्र 46 साल है। कहा कि जिन दो लोगों में इस वेरिएंट की पुष्टि हुई उनमें से एक पहले ही दुबई लौट चुका है जबकि दूसरे को क्वारंटाइन रखा गया है।
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इसलिए तेजी से फैल रहा
ओमीक्रोन से संक्रमित कई लोग हल्के लक्षण या बिना लक्षण के हैं, जो इसे फैला रहे हैं। 70 से 80 प्रतिशत लोगों में लक्षण नहीं है और लोगों को यह सामान्य सर्दी-खांसी लग रहा है। लक्षण गंभीर भी नहीं है क्योंकि लोगों को सुगंध जाने या ऑक्सीजन की कमी जैसी समस्याएं भी नहीं हो रही हैं।
दुनियाभर में डर का माहौल
- दक्षिण अफ्रीका में कोरोना मामलों में एक सप्ताह में 408% की वृद्धि देखी गई है
- ब्रिटेन में ओमिक्रॉन वेरिएंट के मामले एक दिन में 53 फीसदी तक बढ़ गए हैं
- 246 मामले कोरोना के ओमीक्रोन वेरिएंट के आ चुके हैं अब तक ब्रिटेन में
- डेल्टा वेरिएंट से 10 गुना ज्यादा रफ्तार से फैल सकता है विशेषज्ञों के मुताबिक
- दोनों वैक्सीन ले चुके लोग भी ओमीक्रोन से संक्रमित हो रहे हैं
- ओमिक्रॉन से संक्रमित एक व्यक्ति से 30 लोगों में वायरस फैलने की आशंका
राहत
- टाटा इंस्टीट्यूट फॉर जेनेटिक्स एंड सोसायटी के डायरेक्टर डॉ. राकेश मिश्रा ने कहा है कि भारतीय टीकों सहित अन्य वैक्सीन इस वेरिएंट पर कारगर रहेंगी।
- हम उच्च सीरो पॉजिटिविटी और टीकाकरण के चलते बहुत मजबूत स्थिति में हैं। लेकिन हमें सतर्कता बरतनी होगी।
- नए वेरिएंट में मरीज की हालत गंभीर न होना एक अच्छा संकेत है। दुनिया में कहीं भी ओमीक्रोन से मौत का मामला भी सामने नहीं आया है।